करनाल | प्रशिक्षित ड्रोन पायलट की लगातार बढ़ रही डिमांड को मद्देनजर रखते हुए हरियाणा की मनोहर सरकार ने फूसगढ़ स्थित सामुदायिक केंद्र भवन में रिमोट पायलट ट्रेनिंग ऑर्गेनाइजेशन (RPTO) स्थापित कर दिया है. प्रदेश के इस पहले ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट में 1 अप्रैल 2023 से कार्य शुरू हो गया है और यहां हर साल 500 युवाओं को ड्रोन उड़ानें का प्रशिक्षण देकर आत्मनिर्भर बनाया जाएगा.
युवाओं को ड्रोन पायलट बनाने का लक्ष्य
आधुनिकता के इस युग में खेतों से लेकर सुरक्षा व्यवस्था में भी ड्रोन का इस्तेमाल तेजी से हो रहा है. पिछले कुछ सालों से कृषि क्षेत्र में ड्रोन के इस्तेमाल को सरकार भी प्रोत्साहित कर रही है. यही कारण है कि विभिन्न कृषि और बागवानी विश्वविद्यालयों, अनुसंधान संस्थानों में इसका प्रदर्शन किया जा रहा है.
आने वाले समय में ड्रोन की डिमांड में और अधिक इजाफा होगा, इसी को ध्यान में रखते हुए हरियाणा सरकार ने एक संस्था ड्रोन इमेजिंग एंड इंफॉर्मेशन सर्विस ऑफ हरियाणा लिमिटेड (दृष्य़ा) का गठन किया है. यही संस्था फूसगढ़ में स्थापित किए गए RPTO का संचालन करेगी. इसके चैयरमेन खुद मुख्यमंत्री मनोहर लाल है.
क्या है पात्रता
- ड्रोन पायलट का प्रशिक्षण लेने के लिए कक्षा 10वीं उत्तीर्ण होना अनिवार्य होगा.
- आवेदक की उम्र 18 से 65 साल के बीच होनी चाहिए.
- आवेदक के पास आधार कार्ड और पासपोर्ट होना चाहिए.
- ड्रोन प्रशिक्षण लेने के इच्छुक युवाओं को RPTO में रजिस्ट्रेशन करवाना होगा.
इन क्षेत्रों में विशेष डिमांड
कृषि क्षेत्र में खाद और कीटनाशक दवाइयों के छिड़काव में ड्रोन की डिमांड लगातार बढ़ रही है. इसके अलावा खनन, टेलिकम्युनिकेशन, नेशनल हाईवे और स्वास्थ्य सेवाओं में भी ड्रोन का इस्तेमाल तेजी से आगे बढ़ रहा है. इसी वजह से इन क्षेत्रों में प्रशिक्षित ड्रोन पायलट की डिमांड भी बढ़ती ही जा रही है.
ड्रोन प्रशिक्षक ने कही ये बात
हमें Google News पर फॉलो करे- क्लिक करे! हरियाणा की ताज़ा खबरों के लिए अभी हमारे हरियाणा ताज़ा खबर व्हात्सप्प ग्रुप में जुड़े!इंदिरा गांधी राष्ट्रीय उड़ान अकादमी (आईजीआरयूए) की ओर से निर्धारित फीस 65 हजार (जीएसटी अतिरिक्त) है लेकिन इससे कम करके 25 हजार रुपये की फीस का प्रस्ताव तैयार करके सरकार को भेजा है. जल्द सरकार से अनुमोदन मिल जाएगा. उसी के हिसाब से फीस तय व प्रशिक्षण दिवस निर्धारित कर दिए जाएंगे- डॉ. सतेंद्र कुमार यादव, उपनिदेशक (बागवानी) एवं ड्रोन प्रशिक्षक