नई दिल्ली | अब से सीबीएसई बोर्ड (CBSE) परीक्षाओं में नकल पर नकैल कसने के लिए छात्रों की बायोमेट्रिक माध्यम से हाजिरी ली जा सकतीं है. इस प्रकार का यह प्रयोग पहली बार किया जा रहा है. नया सिस्टम लागू होने के बाद से परीक्षा के समय पर मूल परीक्षार्थी की जगह दूसरे को परीक्षा में बैठाने से रोका जा सकता है. ऐसे में बताया जा रहा है कि आने वाले समय में स्कूलों में भी अटेंडेंस की प्रक्रिया को पूर्ण करने के लिए भी बायोमेट्रिक सिस्टम को लागू किया जा सकता है.
परीक्षा कक्ष में बैठने के बाद शुरू होगी अटेंडेंस
अब सभीकक्षाओं में बायोमेट्रिक सिस्टम की सहायता से परीक्षा कक्ष में अटेंडेंस ली जाएगी. बोर्ड की ओर से पहले इस व्यवस्था को केवल प्रायोगिक तौर (Experiment) पर कक्षा 12 वीं की बोर्ड परीक्षा में लागू करने पर विचार विमर्श किया जा रहा है. ऐसे में अब तक परीक्षार्थी की पहचान प्रवेश पत्र यानी एडमिट कार्ड पर लगे फोटो को देखकर ही विद्यार्थी की पहचान की जाती थी. परंतु, अब सभी परीक्षार्थियों की पहचान डिजिटल तरीके से की जाएगी. इस नई व्यवस्था के लागू होने के बाद से परीक्षार्थियों की पहचान करने में विभाग को आसानी होगी, अब किसी भी मशक्त का सामना नहीं करना पड़ेगा. अब कोई परीक्षार्थी फर्जी निकला तो उसे परीक्षा समय पर ही पकड़ा जा सकता है.
चार मई से शुरू हो सकती हैं सीबीएसई की परीक्षाएं
सीबीएसई कक्षा 10 वीं व 12 वीं की बोर्ड परीक्षा चार मई से शुरू होकर 10 जून तक चल सकती है. ऐसे में कहा गया है कि 10 जुलाई तक नतीजे भी घोषित कर दिए जा सकते हैं. सीबीएसई की तरफ़ से कोरोना काल ने जारी की गई गाइड लाइन पर विशेष ध्यान देते हुए परीक्षा आयोजित कराने के लिए निर्देश दिए गए है. सीबीएसई बोर्ड की ओर से जहां एक तरफ टाइम टेबल के साथ प्रयोगात्मक परीक्षाओं की तिथि भी सभी के साथ सांझा कर दी गई है. अब परीक्षा केंद्र निर्धारित हो जाने के बाद प्रयोगात्मक परीक्षा और मुख्य परीक्षा आयोजित करवाने के लिए बोर्ड की ओर से सभी महत्वपूर्ण तैयारियां की जा रही है.
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