चंडीगढ़ | हरियाणा में विधायकों की ‘पावर’ बढ़ाने से नाराज चल रहे पंच- सरपंचों को मनाने का फॉर्मूला गठबंधन सरकार ने तैयार कर लिया है. चुनावी सरगर्मियों के बीच सरकार राज्य में किसी भी संगठन की नाराजगी नहीं चाहती. इसलिए सरकार ने पंच- सरपंचों का मानदेय बढ़ाने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. प्रदेश में सरपंचों के मासिक मानदेय में 2 हजार व पंचों के मानदेय में 600 रुपए की बढ़ोतरी की जाएगी. इसे लेकर विभाग ने प्रारूप तैयार कर लिया है. कुछ सुझाव व आपत्तियों की औपचारिकताएं पूरी करने के बाद यह इसी साल के अप्रैल से लागू माना जाएगा.
मानदेय में बढ़ोतरी से सरकार पर मासिक 4.96 करोड़ रु. का अतिरिक्त आर्थिक भार पड़ेगा. बता दें कि सरपंच अपना मानदेय 30 हजार व पंचों का 5 हजार रु. किए जाने की मांग लंबे समय से कर रहे हैं. इसके लिए काफी आंदोलन भी हुए.
हरियाणा में हैं 6226 सरपंच और 62 हजार पंच
प्रदेश में लगभग 6,226 ग्राम पंचायतें हैं. जिनमें 6,226 सरपंच व 62 हजार पंच मौजूद हैं. सरकार वर्तमान में सरपंचों को 3,000 और पंचों को 1,000 रुपए महीने के हिसाब से मानदेय दे रही है. बढ़ोतरी के बाद सरपंचों को 5,000 और पंचों को 1,600 रुपए मानदेय मिलने लगेगा. राज्य में सरपंचों व पंचों का मानदेय भाजपा सरकार ने ही 2017 में शुरू किया था. इसके बाद, इसमें कोई बढ़ोतरी नहीं हुई. सरपंच लगातार इसकी बढ़ोतरी की मांग करते रहे हैं. अब सरकार करीब 6 साल बाद फिर बढ़ोतरी कर रही है.
अधिनियम में शामिल सभी अधिकार मांगे
सरपंच एसोसिएशन के राज्य प्रधान रणवीर समैण का कहना है कि हमारी मुख्य मांगों में मानदेय बढ़ोतरी ही नहीं बल्कि पंचायती राज अधिनियम में पंचायतों को दिए सभी अधिकारों की है. सरकार को अधिनियम के अनुसार, सभी अधिकार सरपंचों को दिया जाना चाहिए. हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने मानदेय में बढ़ोतरी का ऐलान सरपंचों के चले आंदोलन के बीच इसी साल मार्च में ही कर दिया था लेकिन इसकी प्रक्रिया आगे नहीं बढ़ी थी. अब बढ़ोतरी की घोषणा सीएम को करनी है.
2023 में कर्मचारियों व दूसरे वर्ग के लिए राहत
रोडवेज कर्मचारियों की अवकाश में कटौती का आदेश वापस ले लिया गया. चालक- परिचालकों के आपसी सहमति से तबादले की प्रक्रिया शुरू की गई. बीमार कर्मचारियों के दूर- दराज हुए तबादले रद करने की तैयारी है. एससी कर्मियों को प्रमोशन में आरक्षण की प्रक्रिया शुरू की गई है. विभागों से इस पर रिपोर्ट मांगी गई है. सीएमओ के अफसर लगातार बैठकें कर रहे हैं. सरकार ने दयालु योजना लागू की है.
इसमें 1.80 लाख रुपए तक आय वाले परिवारों में 6 से 60 साल तक के व्यक्ति के निधन पर 1 से 5 लाख रुपए तक की आर्थिक मदद का प्रावधान है. राज्य में 45 से 60 साल की आयु तक के अविवाहित और 40 से 60 साल की आयु वाले विधुर को 2,750 रुपए पेंशन लागू की गई है. सरकार ने विधवा पेंशन में आय सीमा 2 लाख से बढ़ाकर 3 लाख रु. की है.
मानेदय की कुल राशि में होगी 61% की बढ़ोतरी
सरपंचों व पंचों के मानदेय में बढ़ोतरी से सरकार को 61 प्रतिशत ज्यादा पैसा खजाने से निकालना होगा. पहले सरपंचों को तीन हजार और पंचों को एक हजार रुपए दिए जाने से मासिक कुल 8.07 करोड़ रुपए का सरकार पर भार था जो अब बढ़कर करीब 13 करोड़ रुपए हो जाएगा.
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