नूंह हिंसा में सामने आया इस पड़ोसी देश का कनेक्शन, पुलिस के हाथ लगा बड़ा सुराग; पढ़े ताज़ा अपडेट

नूंह | हरियाणा के जिला नू्ह में हुई हिंसा को लेकर अब पाकिस्तानी कनेक्शन भी सामने आ रहा है. मीडिया रिपोर्टस के मुताबिक, यूट्यूबर ने अहसान मेवाती पाकिस्तानी के नाम से सोशल मीडिया अकाउंट बना रखा था. दरअसल, यूजर ने अपनी लोकेशन राजस्थान के अलवर बताई थी. हालांकि, असल में वह पाकिस्तान के इस्लामाबाद और लाहौर से वीडियो पोस्ट कर रहा था.

Nuh Violence

जीशान ने पाकिस्तान एजुकेशन एंड रिसर्च नेटवर्क (PERN) के माध्यम से वीडियो अपलोड किए. इस केंद्रीकृत नेटवर्क के माध्यम से पाकिस्तान के शैक्षणिक संस्थानों को इंटरनेट प्रदान किया जाता है. यह पाकिस्तान सरकार का एक हिस्सा है. जीशान ने ही मोनू मानेसर की हत्या और नूंह में हिंसा भड़काई थी. जिस दिन हिंसा जारी थी, उसी दिन आगजनी- तोड़फोड़ की फुटेज भी जारी की जा रही थी. पुलिस को शक है कि जीशान का नूंह में मजबूत नेटवर्क है. पुलिस ने अब तक की जांच के आधार पर मामला दर्ज करने की तैयारी कर ली है.

जीशान सोशल मीडिया पर खुद को बता रहा मेवाती

सोशल मीडिया पर अहसान मेवाती के अकाउंट की डिटेल वायरल हो रही है. जिसमें एक में वह अपनी लोकेशन पाकिस्तान और दूसरे में अलवर राजस्थान बता रहा है. सूत्रों के मुताबिक, पुलिस ऐसे कई सोशल मीडिया प्रोफाइल की जांच कर रही है जो हाल ही में बनाए गए हैं. इनसे लगातार भड़काऊ पोस्ट और वीडियो अपलोड किए गए हैं. इनमें से एक अहसान मेवाती की प्रोफाइल वायरल है. अब तक की जांच में पता चला है कि ये जीशान की प्रोफाइल है. वह खुद को अलवर का बताता है. 31 जुलाई को जब नूंह में हिंसा भड़की तो उसके वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहे थे.

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हरियाणा में वीडियो का तगड़ा कनेक्शन

  • सूत्रों के मुताबिक, जीशान ने अहसान मेवाती के नाम से जो भड़काऊ वीडियो अपलोड किए थे. उसके अलावा, जो जानकारी वह दे रहा था उससे साफ है कि उसके हरियाणा में मजबूत कनेक्शन हैं. वीडियो पोस्ट करने के 48 घंटे के अंदर ही उन्हें 1 लाख 45 हजार लाइक्स मिल गए. उन्होंने अपने यूट्यूब चैनल पर 273 वीडियो पोस्ट किए हैं और उनके 80,000 फॉलोअर्स हैं.
  • जांच में पता चला है कि जीशान का यूट्यूब हैंडल ई- मेल [email protected] पर रजिस्टर्ड था. जीशान उर्फ एहसान मेवाती जब वीडियो अपलोड कर रहा था तो उसकी लोकेशन इस्लामाबाद पाई गई. उसका आईपी एड्रेस पाकिस्तानी नेटवर्क PERN में था.
  • 27 जुलाई को जीशान पाकिस्तान के पंजाब में सरगोधा के पास एक गांव में गया था. वहां उन्होंने एक वीडियो रिकॉर्ड किया. इस दौरान उन्होंने टेलीनॉर ब्रॉडबैंड का इस्तेमाल किया। 1 अगस्त को वह लाहौर पहुंचा और ज़ोंग नेटवर्क का इस्तेमाल किया. इस दौरान वह एक क्रिकेट ग्राउंड के करीब थे. यह जगह पंजाब सचिवालय के नजदीक है.
  • सूत्रों ने बताया कि जीशान फिलहाल 2 मोबाइल फोन का इस्तेमाल कर रहा है. इनके जरिए वह वीडियो रिकॉर्ड करता है. इन मोबाइलों के जरिए वह 11 ई- मेल ऑपरेट कर रहा है. वह यूट्यूब के अलावा फेसबुक और इंस्टाग्राम पर भी एक्टिव हैं.
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दंगाइयों पर चल रहा बुलडोजर

इस बीच नूंह में हिंसा के पांच दिन बाद राज्य सरकार की बुलडोजर कार्रवाई दूसरे दिन भी जारी है. शनिवार को अधिकारी पुलिस बल के साथ 4 बुलडोजर लेकर नूंह पहुंचे. यहां नलहड़ रोड पर 30 मकान और दुकानें तोड़ दी गईं. अधिकारियों का कहना है कि ये अवैध निर्माण हैं और इनमें रहने वाले लोग 31 जुलाई की हिंसा में शामिल थे. इससे पहले शुक्रवार को नूंह में ही 25 घरों- दुकानों और 250 रोहिंग्या झुग्गियों पर बुलडोजर चलाया गया था. पुलिस ने भी इन्हें अवैध कब्ज़ा बताया था.

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हत्या के मामले में मिला सबूत

नूंह में 31 जुलाई की हिंसा के बाद घर लौट रहे गुड़गांव के बादशाहपुर के बजरंग दल मंडल संयोजक प्रदीप शर्मा की हत्या के मामले में पुलिस को सीसीटीवी फुटेज मिले हैं. इसमें एक संदिग्ध एंबुलेंस दिखाई दी है. पुलिस को आशंका है कि इसी एंबुलेंस से प्रदीप शर्मा को यहां फेंका गया है. 31 जुलाई की देर रात पुलिस उसे अधमरी हालत में अस्पताल ले गई थी.

एसीपी सोहना नवीन संधू के मुताबिक, प्रदीप शर्मा 31 जुलाई को ब्रजमंडल यात्रा में शामिल होने के लिए नूंह गए थे. वहां हिंसा हुई. हिंसा के दौरान वह सुरक्षित स्थान पर छिप गया. रात 10.30 बजे जब वह नूंह से अपने घर भोंडसी लौट रहे थे तो सोहना के रायपुर के पास दंगाइयों ने उनकी कार पर लाठी- डंडों और पत्थरों से हमला कर दिया.

सीसीटीवी में साफ देखा जा सकता है कि मस्जिद के सामने एक एंबुलेंस रुकती है. फिर उसकी डिक्की बंद कर दी गई और फिर अंधेरे में एंबुलेंस की डिक्की खोलकर कुछ फेंका गया. इसके बाद, एंबुलेंस मौके से वापस जाती हुई नजर आ रही है.

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