दिल्ली के 13 हॉटस्पॉट स्थानों के लिए कार्ययोजना तैयार, यहाँ पढ़ें क्षेत्रवार पूरी रिपोर्ट

नई दिल्ली | राजधानी दिल्ली में प्रदूषण कम रखने के लिए राजधानी के 13 हॉटस्पॉट के लिए अलग- अलग कार्ययोजना तैयार की गई है. इनके लिए 13 समन्वय टीमें भी गठित की गई हैं. पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने हॉटस्पॉट में प्रदूषण रोकने की तैयारियों को लेकर संबंधित विभागों के साथ बैठक के बाद यह जानकारी दी है. उन्होंने कहा कि लगातार प्रयासों से राजधानी में प्रदूषण कम हो रहा है. इस बार 200 से ज्यादा दिन तक प्रदूषण का स्तर तय मानकों के भीतर रहा. कार्ययोजना के पंद्रह फोकस बिंदुओं में हॉट स्पॉट प्रमुख हैं. इसी वजह से हॉटस्पॉट को लेकर खास तैयारी की जा रही है.

pollution delhi

एमसीडी के डीसी को नोडल प्वाइंट बनाया गया है. सभी हॉटस्पॉट के लिए अलग- अलग डीपीसीसी इंजीनियरों को तैनात किया गया है. इसके अलावा, धूल प्रदूषण को कम करने के लिए हॉटस्पॉट्स में 60 एंटी- स्मॉग गन लगाए गए हैं.

पढें पूरी रिपोर्ट

द्वारका: सड़क की धूल, डीडीए ग्राउंड में कूड़ा जलाना और द्वारका हॉटस्पॉट क्षेत्र में राष्ट्रीय मलेरिया अनुसंधान केंद्र के आसपास मलबे की अवैध डंपिंग प्रदूषण के कारण हैं, चार एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

यह भी पढ़े -  दिल्ली और गुरुग्राम में कर्मचारी करेंगे घर से काम, प्रदूषण के चलते सरकार ने जारी किए ये निर्देश

मुंडका: यूईआर- 2 के निर्माण के कारण धूल, दिल्ली- रोहतक हाईवे पर कच्ची सड़क और गड्ढों के कारण भारी मात्रा में धूल उड़ रही है, रानीखेड़ा मोड़ रेड लाइट से शुरू होने वाले शहीद विक्रांत सिंह लाकड़ा मार्ग के गड्ढों और कच्चे हिस्से से उड़ रही धूल, प्रदूषण के कारण 6 मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

जहांगीरपुरी: यहां प्रदूषण के स्रोत बायोमास जलाना, आईटीआई के सामने बस टर्मिनल पर यातायात, सड़क के किनारे भारी धूल जमा होना, भलस्वा सेनेटरी लैंडफिल पर भारी कचरा ट्रकों की आवाजाही, डीएमआरसी निर्माण स्थल, डीएमआरसी कास्टिंग प्लांट हैं, 4 मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

नरेला : यहां डीडीए हाउसिंग प्रोजेक्ट का निर्माण, यूईआर- 2 सड़क निर्माण प्रोजेक्ट, आईटीआई नरेला के अंदर निर्माण गतिविधि, कूड़े की डंपिंग, नरेला औद्योगिक क्षेत्र में ट्रैफिक, नरेला- बवाना रोड पर भारत माता स्कूल से हनुमान मंदिर तक सड़क पर गड्ढे प्रदूषण के कारण हैं. दो मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

ओखला: यहां मां आनंदमयी मार्ग और ओखला एस्टेट मार्ग पर खराब सड़कें, भारी ट्रैफिक जाम, ओखला फेज- 1 में गोदरेज वेस्टमार्क एलएलपी लिमिटेड का निर्माण स्थल प्रदूषण के कारण हैं, 4 मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

यह भी पढ़े -  CBSE बोर्ड ने खत्म किया छात्रों का इंतजार, 10वीं- 12वीं की वार्षिक परीक्षा की डेटशीट हुई जारी

पंजाबी बाग: यहां मोती नगर फ्लाईओवर का निर्माण, मोती नगर फ्लाईओवर के नीचे भारी ट्रैफिक जाम, रोड नंबर 41 और रोड नंबर 77 पर गड्ढे, राम लीला मैदान पर वाहनों पर प्रतिबंध, रोहतक रोड की सर्विस लेन पर मलबा डालना प्रदूषण का कारण बन रहा है, 6 मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

आर.के. पुरम: भारी यातायात, सड़क की धूल, सड़कों पर गड्ढे, एनबीसीसी के निर्माण स्थल इसके प्रमुख स्रोत हैं, 4 मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

रोहिणी: यहां के प्रमुख स्रोत उफनती नालियां, वेंकटेश्वर अस्पताल के पास नालियां, आई एंड एफसी भूमि पर कचरा डंपिंग, खुले में कचरा जलाना, शहीद सुखदेव सिंह कॉलेज के पास वेंकटेश्वर अस्पताल का निर्माण हैं, 4 मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

वजीरपुर: यहां बायोमास जलाना, ट्रैफिक जाम की समस्या, खुले में मिट्टी फेंकना, सड़कों पर गड्ढे, निर्माण कार्य प्रदूषण के स्रोत हैं, 6 मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

आनंद विहार: आनंद विहार में निकास सड़क पर ट्रैफिक, दिल्ली मेरठ आरआरटीएस प्रोजेक्ट, इंटीग्रेटेड ईस्ट दिल्ली हब प्रोजेक्ट, आनंद विहार रेलवे स्टेशन के सामने की खराब सड़कें प्रदूषण का मुख्य कारण हैं. यहां 12 मोबाइल एंटी- स्मॉग गन भी लगाई गई हैं.

यह भी पढ़े -  खुशखबरी: कश्मीर को सीधे दिल्ली से जोड़ेगी वंदे भारत ट्रेन, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे उद्घाटन

अशोक विहार: यहां केशवपुरम मेट्रो स्टेशन के पास बायोमास जलाना, आजादपुर मेट्रो से आजादपुर बस टर्मिनल तक ट्रैफिक जाम, आजादपुर चौक पर भीड़, वजीरपुर औद्योगिक क्षेत्र में कच्ची और खोदी गई सड़कें, गुजरांवाला टाउन के पास कच्ची सड़कें प्रदूषण का कारण हैं, यहां दो मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

विवेक विहार: योजना विहार की सोसायटियों में निर्माण और तोड़फोड़, बी- ब्लॉक, झिलमिल में टूटी सड़कों के कारण सड़क पर उड़ रही धूल, बी- 1/ 53 झिलमिल औद्योगिक क्षेत्र के पास कूड़े का मलबा डंप करना, रेलवे रोड (झिलमिल) के पास सड़कों पर भारी बारिश अंडरपास) जाम प्रदूषण का कारण है, 4 मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

बवाना: बवाना औद्योगिक क्षेत्र के पास उड़ रही धूल, यूईआर परियोजना का निर्माण, महर्षि वाल्मिकी अस्पताल के बाहर अवैध कूड़ा डंपिंग और अस्पताल के बाहर यातायात, निर्माणाधीन दिल्ली- औचंदी रोड के साथ लोक निर्माण विभाग की सर्विस सड़कों पर मलबा डंप करना प्रदूषण का कारण यूईआर- 2 है. दो मोबाइल एंटी स्मॉग गन लगाई गई हैं.

हमें Google News पर फॉलो करे- क्लिक करे! हरियाणा की ताज़ा खबरों के लिए अभी हमारे हरियाणा ताज़ा खबर व्हात्सप्प ग्रुप में जुड़े!

exit