पंचकूला | दुनिया के 50 सबसे प्रदुषित शहरों की सूची में हरियाणा के सात शहरों का शामिल होना किसी ख़तरे से कम नहीं है. इस सूची में गुरुग्राम और फरीदाबाद शिखर पर है . राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली से सटा गुरुग्राम शहर हरियाणा का प्रमुख आईटी हब है ,जिसकी विश्व पटल पर पहचान है.
स्विस संगठन ‘आइक्यू एयर’ द्वारा तैयार ‘वर्ल्ड एयर क्वालिटी रिपोर्ट 2020’ में हरियाणा के जिन प्रदुषित शहरों को शामिल किया गया है उनमें रोहतक, हिसार, फतेहाबाद, जींद और यमुनानगर भी शामिल हैं. हालांकि गुरुग्राम में प्रदुषण के बढ़ते स्तर की गूंज हरियाणा विधानसभा में भी सुनाई दी लेकिन बाकी छः शहरों के प्रदुषण को लेकर जनप्रतिनिधियों ने कोई गंभीरता नहीं दिखाई है.
वर्ल्ड एयर क्वालिटी रिपोर्ट 2020 को कुछ लोगों ने यह कहकर खारिज कर दिया कि एक साल पहले की रिपोर्ट के आधार पर प्रदुषण का मौजूदा स्तर नहीं आंका जा सकता है लेकिन इस रिपोर्ट को कुछ पुरानी भी मान लिया जाए तो इस सच्चाई से मुंह नहीं मोड़ा जा सकता कि प्रदेश में बढ़ता प्रदुषण सरकार, जनप्रतिनिधियों और खासतौर से आम आदमी के लिए बड़ी मुश्किलें बढ़ाने का काम कर रहा है.
अगले 3 साल में एक करोड़ पौधे लगाने का लक्ष्य
बरसात के मौसम में पौधे लगाकर फोटो खिंचवाने की रस्म अदायगी करने से पर्यावरण संरक्षण नहीं होने वाला है . कागज़ों में तो पौधे लग जाते हैं लेकिन आज तक कोई ऐसा सर्वे नही हो पाया कि इनमें से कितने पौधे जिंदा बचे. विधायक राकेश दौलताबाद ने कहा कि अगले तीन साल में एक करोड़ पौधे रोपित करने पर हम इनमें से तीस लाख पौधों को बचा सकते हैं , इसलिए पर्यावरण संरक्षण में सभी का योगदान जरूरी है.
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