400 साल पुराना है भोजा देवी मंदिर, नवरात्र में माता रुप बदलकर देती है भक्तों को दर्शन

भिवानी । हरियाणा के भिवानी शहर के नया बाजार में माता का बहुत ही प्राचीन मंदिर है जिसे भोजा देवी मंदिर के नाम से जाना जाता है. इस प्राचीन मंदिर की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि इस मंदिर में माता की मूर्ति की नाक को बींधा गया है. बताते हैं कि ऐसी मूर्ति पूरे देश में और कही देखने को नहीं मिलेगी. श्रद्धालुओं ने बताया कि इस मंदिर की मूर्ति पूरे नौ दिन माता का स्वरूप दिखाती है और माता के चेहरे के भाव भी बदलाव देखने को मिलता है.

Navratri 2021

नवरात्रों के दौरान यहां दूर-2 से श्रद्धालु दर्शन करने के लिए आते हैं . ऐसी आस्था है कि यहां आने वाले श्रद्धालुओं की माता हर मन्नत पूरी करती है. मिली जानकारी अनुसार इस मंदिर का निर्माण भोजा जाति के लोगों ने करवाया था. बताते हैं कि लगभग 400 साल पहले रेहड़ी पर माता की मूर्ति लेकर कुछ लोग भिवानी शहर से गुजर रहे थे. मूर्ति लेकर जा रहें लोगों ने आराम करने की सोची तो वें एक पेड़ के नीचे बैठ गए और मूर्ति भी वहीं रख दी.

कुछ समय पश्चात जब वो लोग वहां से चलने लगें तो उन्होंने देखा कि माता की मूर्ति वहीं स्थापित हो चुकी थी. बताया जाता है कि तभी आकाशवाणी हुई और कहां गया कि माता का मंदिर यहीं पर स्थापित किया जाएं. तभी इस जगह पर इस मंदिर को स्थापित कर दिया गया. श्रद्धालुओं ने बताया कि इस मंदिर में माता का न केवल नौ के नौ दिन स्वरुप बदलता है बल्कि माता की मूर्ति से पसीना भी निकलता है. उन्होंने बताया कि नवरात्र के आखिरी दिन माता की आंखों से आंसू भी निकलते हैं.

श्रद्धालुओं ने बताया कि नवरात्रों में यहां माता के मंदिर में 500 से ज्यादा ज्योत जलाई जाती है जो कि पूरे नौ दिन तक जलती है. नवरात्रों में यहां श्रद्धालुओं का हुजूम उमड़ पड़ता है और यहां आने वाले श्रद्धालु हलवा,छोले, पूरी व फलों का प्रसाद ग्रहण करते हैं. श्रद्धालुओं ने कहा कि यहां आने वाले सभी लोगों की मन की मुराद पूरी हो जाती है. माता रानी की क्षेत्र के लोगों पर विशेष कृपा बनी रहती है.

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