नई दिल्ली । गेहूं की कीमतें लगातार बढ़ रही है, वही आने वाले दिनों में इसमें राहत मिलती हुई नहीं दिखाई दे रही. वहीं जानकारों की माने तो शॉट से लॉन्ग टर्म में गेहूं का भाव 3000 रूपये प्रति क्विंटल के स्तर पर पहुंच सकता है. वही सीबीओटी ( Chicago Board of Trade ) पर गेहूं की कीमतें बढ़ने की संभावना है. ओरीगो ई -मंडी के सीनियर मैनेजर इंद्रजीत पॉल के अनुसार अप्रैल के महीने में गेहूं की कटाई जोरों से की जा रही है. जिस वजह से कीमतों में कुछ गिरावट आ सकती है.
इस वजह से बढ़ सकती है गेहूं की कीमतें
उन्होंने बताया कि कीमतों में गिरावट सीमित रहेगी. गेहूं का भाव 2,015 से 2,020 रूपये प्रति क्विंटल बना रहने की संभावना है. उनका कहना है कि गेहूं में 2270 रुपए का मजबूत रेसिस्टेंस है. उसके ऊपर भाव टिकने पर शार्ट से लॉन्ग टर्म में 2600 से 3000 रूपये तक के ऊपरी स्तर पर दिखाई दे सकते हैं. इसके अलावा ग्लोबल लेवल पर सप्लाई प्रभावित होने और अंतिम स्टॉक कमजोर रहने से शॉर्ट टर्म गेहूं की कीमतों में भी तेजी आ सकती है. मार्च के पूरे महीने के दौरान गेहूं का भाव 2250 से 2420 रूपये के बीच बना रहा. रूस और यूक्रेन के बीच छिड़ी युद्ध की वजह से दुनिया भर में गेहूं की सप्लाई प्रभावित हुई है.
ग्लोबल लेवल पर सप्लाई प्रभावित होने की वजह से मार्च के पहले ही पखवाड़े में भारत से गेहूं एक्सपोर्ट आउटलुक के चलते कीमतों में तेजी आई. वही मार्च के आखिरी सप्ताह में कटाई के बढ़ने के साथ-साथ सरकार द्वारा पीएमजीकेवाई योजना की समय अवधि को अगले 6 महीने के लिए बढ़ाने और ताज़ा आवक की वजह से शॉर्ट टर्म की कीमतों में करेक्शन दर्ज किया गया. इंद्रजीत पोल के अनुसार 2022 -23 के लिए गेहूं की सरकारी खरीद का लक्ष्य 44.4 मिलियन मैट्रिक तक रखा गया है, जो सालाना आधार पर 2.4% अधिक है. यदि यह लक्ष्य पूरा होता है तो इतिहास में गेहूं की खरीद रिकॉर्ड के रूप में दर्ज की जाएगी.
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