नई दिल्ली | सोसाइटी ऑफ़ इंडियन ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरर के 62वे वार्षिक सम्मेलन को संबोधित करते हुए केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने स्क्रैप कारों के बारे में जानकारी दी और बताया कि पुराने वाहनों को स्क्रैप करने से ऑटो कंपनियों के राजस्व में बढ़ोतरी होगी. वहीं, दूसरी तरफ स्क्रैप के बाद नई खरीद के लिए भी छूट मिलनी चाहिए. यह बात सुनकर आपके मन में अब यह सवाल आ रहा होगा कि हम पुरानी गाड़ियों को स्क्रैप कैसे करें? आज की इस खबर में हम आपको आरटीओ द्वारा बताए गए सभी नियमों के बारे में जानकारी देंगे.
गाड़ी स्क्रैप करने से पहले इन नियमों का रखें ध्यान
अपनी पुरानी गाड़ी को स्क्रैप करने से पहले आपको RTO को स्क्रेपिंग के बारे में एक मेल भेजना होगा. इसके बाद, रिकॉर्ड के साथ मूल आरसी कॉपी और चेसिस नंबर, स्क्रैप डीलर का पूरा पता और उससे ली गई मंजूरी की कॉपी भी आपको अपने रजिस्टर्ड आरटीओ को सौंपने होगी.
इस प्रक्रिया के पूरा होने के बाद आपकी कार को भी रजिस्टर्ड कर दिया जाएगा. इसका मतलब यह है कि अब आप अपनी कार को स्क्रैप करवा सकते हैं. आरटीओ से सर्टिफिकेट लेने के बाद आपको रजिस्टर्ड स्क्रैपर के पास जाना होगा, जिसका पूरा पता आपके आरटीओ के मेल में दिया गया था.
इस प्रकार की जाती है गाड़ी स्क्रैप
राज्य सरकार की वेबसाइट पर आपको रजिस्टर वाहन स्क्रैपर लिस्ट में दिख जाएगा. इसके बाद, आप अपने नजदीकी स्क्रैपर से अपॉइंटमेंट लेकर शेड्यूल कर सकते हैं. जैसे ही आप की अपॉइंटमेंट फिक्स हो जाती है तो आपको जरूरी दस्तावेज स्क्रैपर को सौंपने होंगे. यहां गाड़ी से इंजन ऑयल, गियर बॉक्स ऑयल, इंटीरियर, ड्राइव सॉफ्ट वायरिंग, हार्नेस आदि जैसे पार्ट्स को अलग कर दिया जाता है. इन सभी पार्ट्स को दोबारा इस्तेमाल करने के लिए रख लिया जाता है. अंतिम प्रक्रिया के दौरान गाड़ी स्क्रैप होने की सारी डिटेल सरकारी डेटाबेस पर अपडेट कर दी जाती है.
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