हरियाणा में 13 किसानों पर हत्या के प्रयास का केस दर्ज, जाने वजह

अम्बाला | हरियाणा के सीएम मनोहर लाल खट्टर के काफिले को कथित रूप से रोकने और वाहनों पर डंडे फेंकने की बात जैसे ही सामने आती हैं तो उसके लगभग एक दिन बाद ही बुधवार को आरोपी माने गए 13 किसानों के खिलाफ हत्या की कोशिश करने और दंगा करने की धाराएं लगा कर मामला दर्ज कर दिया गया है. हम आपको विशेष रूप से जानकारी दे दे कि यह वे किसान है जो केंद्र के नए कृषि कानूनों का विरोध करते हुए प्रदर्शन कर रहे थे. विपक्षी दल यानी कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष कुमारी शैलजा ने इस मामले में कड़ी आलोचना करते हुए अपना पक्ष रखा और कहा कि इस कदम से सरकार की हताशा का एक नज़राना पेश होता है.

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KISAN AANDOLAN PARDARSHAN

पुलिस सीएम खट्टर को सुरक्षित मार्ग पर भेजने में हुई कामयाब, किसानों के ख़िलाफ़ केस दर्ज

हालांकि, बीते मंगलवार के दिन को आंदोलन कर रहे किसानों के एक बड़े हिस्से ने सी एम मनोहर लाल खट्टर को काले झंडे भी दिखाए थे, इस घटना को तब अंजाम तक पहुंचाया गया सी एम मनोहर लाल खट्टर का काफिला अंबाला शहर से गुजर रहा था. ऐसे में कुछ किसानों ने काफिले को कथित रूप पर रोकने की भी कोशिश की थी, किंतु पुलिस थोड़े ही समय के भीतर सी एम को एक सुरक्षित मार्ग पर ले जाने में कामयाब रही और उन्हें वहां से जल्द ही दूर भेज दिया गया था. साथ ही साथ अब कुछ सुरक्षा कर्मियो की शिकायत पर किसानों के ख़िलाफ़ मामला दर्ज भी कर दिया गया है.

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कुमारी शैलजा ने अपना बयां जारी करते हुए कहा है कि हरियाणा सरकार ने किसानों के खिलाफ मामला दर्ज करवा कर सारी हदें अब लांघ दी हैं. उन्होंने संवाद के दौरान आगे कहा कि भाजपा सरकार अब किसानों की आवाज को लगातार दबा रही है, ऐसे में लोगों का इस सरकार पर से भरोसा पूरी तरह से उठ गया है.

किसानों के ख़िलाफ़ दर्ज़ हुई अलग अलग धाराएं

पुलिस ने भी संवादाताओं को स्पष्ट रूप से जानकारी देते हुए कहा है कि अंबाला सिटी पुलिस ने 13 किसानों के विरुद्ध भारतीय दंड संहिता की अलग अलग धाराओं 307, 147, 148, 149, 186, 353 और 506 के अन्तर्गत मामला दर्ज कर लिया है. दरअसल, घटना कुछ यूं है कि केंद्र सरकार द्वारा लागू किए गए तीन नए कृषि कानूनों को लेकर किसानो ने रोष की भावना अभी भी बरकरार है और यही वजह है कि वे कानूनों को रद्द कराने पर डटे हुए हैं. किसान इस मामले में सरकार के साथ आर या पार की लड़ाई का ऐलान कर चुके हैं. इसके लिए अब दिल्ली की सीमाओं पर किसानों का आंदोलन बीते 28 दिनों से अभी भी जारी है.

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