चंडीगढ़ | हरियाणा में दिव्यांगों के लिए बड़ी खुशखबरी है. राज्य सरकार ने दिव्यांगों के अधिकारों की रक्षा के लिए एक जुलाई से विशिष्ट दिव्यांगता पहचान पत्र (यूडीआईडी) कार्ड लागू कर दिया है. दिव्यांगजनों को नौकरी या अन्य किसी प्रकार का सरकारी लाभ पाने के लिए यूडीआईडी देना जरूरी होगा. इससे उन्हें अपने काम निपटाने में भी आसानी होगी.
2 यूनिवर्सिटीज में चलेंगी लो फ्लोर बसें
प्रदेश में दिव्यांगजनों की सुविधा के लिए एमडीयू रोहतक और कुरूक्षेत्र विश्वविद्यालय परिसर में सुबह 8 बजे से शाम 6 बजे तक लो फ्लोर बसें चलाई गई हैं ताकि दिव्यांगों को एक संकाय से दूसरे संकाय तक जाने में किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े. उन्होंने कहा कि राज्य में दिव्यांगजनों को नौकरी देने के लिए कॉरपोरेट सेक्टर की 3 कंपनियों से समझौता किया गया है.
स्थानांतरण नीति का भी मिल रहा लाभ
मक्कड़ ने कहा कि राज्य सरकार दिव्यांगों को पारदर्शिता के साथ लाभ देने के लिए प्रतिबद्ध है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री मनोहर लाल के नेतृत्व में सरकार सबका साथ और सबका विकास की भावना से काम कर रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश में दिव्यांगों को आनलाइन ट्रांसफर नीति से बाहर कर उनके गृह जिले में तैनात किया जाएगा ताकि वे और अधिक निष्ठा से अपना कर्तव्य निभा सकें.
राज्य आयुक्त राजकुमार ने कही ये बात
राज्य आयुक्त राजकुमार ने बताया कि राज्य में तीन लाख 39 हजार 190 दिव्यांगों का रिकार्ड है, जिनमें से 40 प्रतिशत दिव्यांग हैं. दो लाख दिव्यांगजन आयुष्मान योजना का लाभ मिल रहा है. बाकियों में से कुछ या तो नौकरी करते हैं या फिर स्कूली बच्चे हैं, जिनकी संख्या 32,500 है. उन्होंने बताया कि विशेष विद्यालय के विद्यार्थियों की शिक्षा के लिए राज्य में 279 विशेष शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया अंतिम चरण में है तथा 1280 और पदों पर नियुक्ति की जायेगी.
साथ ही दिव्यांगों को चार प्रतिशत आरक्षण नौकरियों में दिया जा रहा है. दिव्यांगों को उनकी योग्यता के अनुसार सरकारी एवं निजी क्षेत्रों में रोजगार उपलब्ध कराया जा रहा है. दिव्यांगों को रोजगार देने वाली कंपनियों को 2.5 लाख रुपये की जीएसटी छूट दी जा रही है. इसके साथ ही दिव्यांगजनों को निर्धारित कोटे के अनुसार रोजगार नहीं देने वाली कंपनियों पर भी कार्रवाई की जा रही है. अनुदान भी रोका जा रहा है और आने वाले समय में अनुदान की धनराशि की वसूली के साथ-साथ दिव्यांगजन अधिकार अधिनियम की धारा 92 के तहत कार्रवाई भी की जाएगी, जिसमें पांच लाख के जुर्माने का प्रावधान है.
राज्य सरकार ने दिव्यांगों को बायोमेट्रिक हाजिरी लगाने में छूट दी है. राज्य में कुल 40 प्रतिशत विकलांगता वाले 3 लाख 39 हजार 190 व्यक्तियों में से 2 लाख 51 हजार 88 कार्ड बनाये गये हैं. एक लाख सात हजार 734 आवेदन प्राप्त हुए हैं, जिनमें से 65 हजार 166 मेडिकल से संबंधित हैं.
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