चंडीगढ़ | हरियाणा में बागवानी फसलों की खेती करने वाले किसानों के लिए एक अच्छी खबर है. प्रदेश सरकार बागवानी बीमा योजना के तहत, प्राकृतिक आपदा जैसे ओलावृष्टि, आंधी, तूफान, बेमौसमी बारिश आदि से फलों की खेती में नुकसान पर 40 हजार रूपए प्रति एकड़ तो वहीं सब्जियों में नुकसान पर 30 हजार रूपए प्रति एकड़ मुआवजा राशि देगी.
उपायुक्त मंदीप कौर ने बताया कि इस योजना का लाभ उठाने के लिए किसानों को ‘मेरी फसल- मेरा ब्योरा’ पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन करवाना अनिवार्य होगा. वहीं, रजिस्ट्रेशन के लिए फलों की खेती पर 1 हजार रूपए प्रति एकड़ और सब्जियों व मसाले पर 750 रूपए प्रति एकड़ का प्रीमियम भुगतान करना होगा.
कुल 46 फसलें होगी शामिल
उन्होंने बताया कि सरकार ने इस योजना के तहत, कुल 46 फसलों जैसे फलों की खेती में किन्नू, बेर, लिची, अमरूद, खजुर, मालटा, आंवला, नींबू इत्यादि व सब्जियों की फसलों में प्याज, आलू, हरी मिर्च, भिंडी, घिया, गोभी, मटर, टमाटर, आलू इत्यादि और मसाले में हल्दी व लहसुन की फसलों को शामिल किया है.
इस तारीख तक करें रजिस्ट्रेशन
मंदीप कौर ने आगे बताया कि सब्जियों में आलू, गाजर, मटर, मूली, लहसून, फूलगोभी के लिए 15 सितंबर से 31 जनवरी व रबी प्याज के लिए 15 दिसंबर से 31 जनवरी जबकि भिंडी, बैंगन, शिमला मिर्च, कद्दू, तोरइ, करेला और ककड़ी के लिए 15 जनवरी से 15 मार्च तक, खजूर के लिए एक फरवरी से 31 मई और मालटा, नींबू, संतरा, आंवला व अनार के लिए 01 मार्च से 31 मई तक रजिस्ट्रेशन करवाना होगा.
72 घंटे के अंदर देनी होगी सूचना
उपायुक्त ने बताया कि बागवानी फसल बीमित किसान को प्राकृतिक नुकसान होने पर 72 घंटे के भीतर विभागीय पोर्टल पर सूचना देनी होगी. जिसके बाद बागवानी विभाग द्वारा सात दिन के अंदर भौतिक निरीक्षण करके फसल नुकसान का आंकलन किया जाएगा. उन्होंने बताया कि 0- 25% तक फसल नुकसान पर मुआवजा राशि नहीं दी जाएगी.
ये होगी मुआवजा राशि
सब्जियां व मसाले
नुकसान | रुपए |
26-50% | 15 हजार रूपए |
50-75% | 22,500 रूपए |
75-100% | 30 हजार रूपए |
फल
नुकसान | रुपए |
26-50% | 20 हजार रूपए |
50-75% | 30 हजार रूपए |
75-100% | 40 हजार रूपए |