चंडीगढ़ | हरियाणा विधानसभा के शीतकालीन सत्र की 13 नवंबर से शुरूआत हो चुकी है. सत्र के पहले दिन सूबे की नायब सैनी सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए शेड्यूल कास्ट (SC) में वर्गीकरण का आदेश जारी कर दिया है. सरकारी नौकरियों में अनुसूचित जाति के आरक्षण में वर्गीकरण का फैसला 13 नवंबर से ही से लागू होगा.
एससी आरक्षण में वर्गीकरण लागू
सुप्रीम कोर्ट ने सरकारी नौकरी में अनुसूचित जाति के आरक्षण के वर्गीकरण को लेकर फैसला दिया था, जिसके बाद इस फैसले को हरियाणा मंत्रिमंडल की बैठक में मंजूरी दी गई थी.
शीतकालीन सत्र के पहले दिन सीएम नायब सैनी ने घोषणा करते हुए कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने सरकारी नौकरी में अनुसूचित जाति के आरक्षण के वर्गीकरण को लेकर फैसला दिया था, जिसे हमारी कैबिनेट ने पहले ही पास कर दिया था. हरियाणा में सरकारी नौकरी में अनुसूचित जाति के आरक्षण में वर्गीकरण का फैसला आज तुरंत प्रभाव से लागू होता है.
मुख्यमंत्री श्री @NayabSainiBJP ने विधानसभा में एक महत्वपूर्ण घोषणा करते हुए कहा कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा सरकारी नौकरियों में अनुसूचित जाति के आरक्षण में वर्गीकरण पर दिया गया फैसला राज्य में आज से लागू हो जाएगा। उन्होंने बताया कि इस फैसले को कैबिनेट ने पहले ही मंजूरी दे दी थी। pic.twitter.com/8Jvm8iDjxV
— DPR Haryana (@DiprHaryana) November 13, 2024
इन वर्गों को मिलेगा फायदा
वर्तमान में SC के लिए 15% और एसटी के लिए साढ़े 7% आरक्षण है. कुल 22.5 प्रतिशत आरक्षण में ही राज्य एससी और एसटी के उन कमजोर वर्गों का कोटा तय कर सकेंगे, जिनका प्रतिनिधित्व काफी कम है. एससी, एसटी वर्ग को दिए जाने वाले आरक्षण में उसी वर्ग के आरक्षण का लाभ पाने से वंचित रह गए वर्गों को फायदा देने के लिए उपवर्गीकरण किया जा सकता है.
SC वर्ग की जो जातियां ज्यादा पिछड़ी रह गई है और जिन्हें आरक्षण का लाभ नहीं मिल पाया है. जिनका सरकारी नौकरियों में पर्याप्त प्रतिनिधित्व नहीं है, उनको हरियाणा सरकार के फैसले के बाद उपवर्गीकरण के जरिए उसी कोटे में प्राथमिकता दी जा सकती है, ताकि उन्हें लाभ मिल और उनका उत्थान हो सके.
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