चंडीगढ़ । बजट पेश होने के 6 दिन बाद कल यानि 14 मार्च से विधानसभा के बजट सत्र की कार्यवाही फिर से शुरू होगी. बजट को पढ़ने के लिए प्रदेश के सभी 90 विधायकों को 9 मार्च से 13 मार्च तक का समय दिया गया है क्योंकि विधायकों की यह लंबे समय से मांग थी कि बजट पेश होने के दिन वे उस पर व्यापक चर्चा नहीं कर पाते हैं. विधायकों की इस मांग पर गौर फरमाते हुए अबकी बार से बजट को विस्तार से पढ़ने के लिए समय देने की नई परम्परा शुरू की गई है.
14 मार्च से 16 मार्च तक विधानसभा में प्रदेश के नए वित्तीय बजट पर चर्चा होगी. नए बजट में राज्य में 1000 नई नर्सरियां खोलने की घोषणा की गई है. इसके अलावा कक्षा 10 वीं और 12 वीं के छात्रों को टेबलेट देने की भी घोषणा की गई है. यह घोषणा प्रदेश सरकार द्वारा पिछले बजट में भी की गई थी. इसके अलावा प्रदेश पर 2 लाख 45 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा का कर्ज, एसवाईएल, किसानों व बेरोजगारी के मुद्दों समेत कई ऐसे मुद्दे हैं जिन पर विपक्षी दल मनोहर सरकार को विधानसभा में घेरने की कोशिश करेगी.
विधायकों की गठित कमेटी को देगी सुझाव
विधानसभा के बजट सत्र में सीएम मनोहर लाल ने साल 2022-23 के लिए 1,77,255.99 करोड़ रुपये का बजट पेश किया. इसे विधानसभा अध्यक्ष ज्ञान चंद गुप्ता ने विधानसभा समितियों के माध्यम से लोकसभा की तर्ज पर पारित करवाने का निर्णय लिया है. इसके लिए उन्होंने विभिन्न विषयों पर विधानसभा की 8 समितियों के गठन की घोषणा की थी.
विधानसभा डिप्टी स्पीकर रणबीर सिंह गंगवा कमेटी-1 के अध्यक्ष, विधायक असीम गोयल कमेटी-2, विधायक गीता भुक्कल कमेटी-3, विधायक ईश्वर सिंह कमेटी-4, विधायक सीमा त्रिखा कमेटी-5, विधायक किरण चौधरी कमेटी-6, विधायक घनश्याम दास अरोड़ा कमेटी-7 तथा विधायक अभय सिंह यादव कमेटी-8 के अध्यक्ष मनोनीत किए गए हैं. यह कमेटियां बजट के विभिन्न विषयों पर विचार- विमर्श कर 14 मार्च को अपनी रिपोर्ट सदन में प्रस्तुत करेंगी.
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