चंडीगढ़ । मुख्यमंत्री मनोहर लाल के करनाल दौरे के दौरान किसानों का सिर फोड़ने के आदेश जारी करने वाले करनाल के एसडीएम का ट्रांसफर हो गया है. लेकिन अब राजनीतिक दलों से लेकर आम आदमी तक इस पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कह रहे हैं कि ये कार्रवाई हैं या मेहरबानी क्योंकि सीएम मनोहर लाल ने उन्हें अपने गृह जिले के एसडीएम पद से हटाकर सीधे अपने डिपार्टमेंट सिटीजन रिसोर्सेज इनफार्मेशन (CRID) में एडिशनल सेकेट्री बना दिया है. इस विभाग को खुद मुख्यमंत्री बड़ी गंभीरता से लेते हैं. उनकी इस नियुक्ति पर प्रदेश में अब सवालिया निशान खड़े हो रहे हैं कि ये तो पहले से भी बड़े पद पर तैनाती दी गई है और साथ ही मुख्यमंत्री ने उन्हें अपने ओर नजदीक बुला लिया.
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि आयुष सिन्हा वो आईएएस अधिकारी हैं जो करनाल में किसानों पर हुएं लाठीचार्ज मामले में लगातार सुर्खियों में बनें हुए हैं. उनका एक वीडियो सोशल मीडिया पर खुब वायरल हो रहा है जिसमें वो पुलिसकर्मियों को सीधा किसानों के सिर फोड़ने के आदेश जारी कर रहे हैं. इस वीडियो को लेकर प्रदेश की राजनीति में काफी घमासान मचा हुआ है. देश-प्रदेश के प्रमुख राजनीतिक दलों से लेकर मेघालय के गवर्नर सत्यपाल मलिक ने भी एसडीएम आयुष सिन्हा पर कार्रवाई की मांग करते हुए उन्हें तुरंत सस्पेंड करने की वकालत की है.
फिलहाल प्रदेश में यह चर्चा जोरों पर है कि मुख्यमंत्री एसडीएम आयुष सिन्हा पर काफी भरोसा करते हैं, इसलिए उन्होंने किसान आंदोलन के बढ़ते दबाव को कम करने के लिए यें तोड़ निकाला है जिससे सांप भी मर जाएं और लाठी भी ना टूटे. लेकिन अब यह देखना दिलचस्प होगा कि किसान नेताओं की तरफ से इस पर क्या प्रतिक्रिया निकल कर सामने आती है क्योंकि गुरनाम चढूनी तो सरकार को अल्टीमेटम दे चुके हैं कि अगर एसडीएम पर कार्रवाई नहीं हुई तो प्रदेश में बड़ा आंदोलन खड़ा करेंगे. इसके अलावा राकेश टिकैत ने भी एसडीएम के रवैए को लेकर हरियाणा सरकार को तालिबान की संज्ञा दे डाली थी.
हमें Google News पर फॉलो करे- क्लिक करे! हरियाणा की ताज़ा खबरों के लिए अभी हमारे हरियाणा ताज़ा खबर व्हात्सप्प ग्रुप में जुड़े!