चंडीगढ़ । हरियाणा की मनोहर सरकार ने प्रदेश में सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए भविष्य की रणनीति तैयार कर ली है. प्रधानमंत्री किसान उर्जा सुरक्षा उत्थान महाअभियान (पीएम कुसुम) के तहत प्रदेश सरकार सुक्ष्म सिंचाई को बढ़ावा देने की तैयारी कर ली है. इसके तहत सौर ऊर्जा संचालित पंप लगाने के लिए किसानों को प्रेरित किया जा रहा है और साथ ही इस पर 75% तक सब्सिडी प्रदान करने का फैसला लिया गया है.
सोलर पंप लगाने के लिए दी जाने वाली 75% सब्सिडी में से 45% प्रदेश सरकार व 30% केन्द्र सरकार वहन करेगी. इस तरह किसान मात्र 25% खर्च राशि में सोलर पंप स्थापित करवा सकते हैं. इससे किसानों का सिंचाई के दौरान डीजल, बिजली बिल आदि का खर्चा बचेगा. सीएम मनोहर लाल ने कहा कि प्रदेश सरकार की यह योजना किसानों की आमदनी बढ़ाने की दिशा में अहम भूमिका निभाएगी.
सीएम ने कहा कि बहुत सी जगहों पर सिंचाई के लिए वर्षा पर निर्भर रहना पड़ता है या फिर महंगे भाव का डीजल फूंकना पड़ता है. इसलिए सोलर पंप किसानों के लिए बेहतर विकल्प साबित हो सकते हैं. उन्होंने कहा कि हमारी सरकार सौर ऊर्जा संचालित साधनों को लेकर लगातार प्रयासरत हैं.
सीएम मनोहर लाल ने कहा कि सोलर पंप लगाने की योजना पर हमारी सरकार गंभीरता से काम कर रही है. उन्होंने कहा कि साल 2014 तक प्रदेश में केवल 492 सोलर पंप ही लगवाएं गए थे लेकिन पिछले सात साल में हमारी सरकार ने 25 हजार 897 सोलर पंप सेट लगाएं है. सीएम ने बताया कि भौगोलिक दृष्टि से हरियाणा देश का पहला राज्य है जहां साल के दौरान 320 दिन सूर्य की रोशनी अधिक मिलती है जो सौर ऊर्जा का प्राकृतिक स्त्रोत है. बिजली मंत्री रणजीत सिंह चौटाला ने बताया कि जो किसान सोलर वाटर पंपिंग सिस्टम लगाना चाहते हैं उन्हें http://saralharyana.gov.in/ पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन करना होगा.
पीएम कुसुम योजना के लाभ
• किसानों को बिना रुकावट के बिजली आपूर्ति मिलेगी.
• किसानों की आमदनी में बढ़ोतरी.
• भू-जल के अत्याधिक दोहन पर रोक लगेगी.
• कृषि में कार्बन फुटप्रिंट को कम करने में मदद
• किसानों को डीजल और बिजली बिल के खर्च से छुटकारा मिलेगा.
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