चंडीगढ़ | हरियाणा के पूर्व CM ओमप्रकाश चौटाला (OP Chautala) की इंडियन नेशनल लोकदल पार्टी (INLD) के भविष्य पर राजनीतिक संकट खड़ा हो गया है. पार्टी को भारतीय चुनाव आयोग ने आखिरी मौका दिया है. सूबे में इस साल अक्टूबर में होने वाले विधानसभा चुनावों में यदि पार्टी तय वोट प्रतिशत हासिल नहीं कर पाती है, तो क्षेत्रीय दल का दर्जा समाप्त होने के साथ ही चुनाव चिन्ह चश्मा भी वापस ले लिया जाएगा.
क्या कहता है चुनाव आयोग का गणित
चुनाव आयोग के नियमों के अनुसार, किसी भी पार्टी को लगातार 2 चुनाव (लोकसभा व विधानसभा) में निर्धारित वोट नहीं मिलते हैं तो क्षेत्रीय दल का दर्जा छिन जाता है. लोकसभा चुनाव में 6% वोट और एक सीट या 8% वोट की जरूरत होती है. विधानसभा में 6% वोट और 2 सीटें होनी चाहिए. नियमानुसार अगर लगातार 2 चुनाव (2 लोस व 2 विस) में ये सब नहीं होता है तो पार्टी का चुनाव चिह्न भी छिन सकता है.
INLD का चुनाव में प्रदर्शन
पार्टी में दो- फाड़ होने से पहले हरियाणा में इनेलो का वोट प्रतिशत ठीक रहा था. INLD लगातार लोकसभा चुनावों में 15 से 28% वोट हासिल करती रही थी. 2014 के लोकसभा चुनावों में पार्टी की टिकट पर 2 सांसद जीते थे और उन्हें 24.4% वोट मिले थे, लेकिन 2019 में JJP का गठन होने के बाद इनेलो का बुरा दौर शुरू हुआ और पार्टी 1.9% वोट पर सिमटकर रह गई. इस बार के लोकसभा चुनावों में भी पार्टी निर्धारित वोट प्रतिशत हासिल नहीं कर पाई है.
2016 में मिल चुकी है राहत
2016 में चुनाव चिह्न (आरक्षण और आवंटन) आदेश में संशोधन से INLD को राहत जरूर मिली है. संशोधन के बाद अब किसी राजनीतिक दल को अगले लोकसभा या राज्य विधानसभा चुनावों में मान्यता खोने के बाद भी ‘स्टेट पार्टी’ या ‘नेशनल पार्टी’ का टैग बनाए रखने की अनुमति मिलती है.
अगर पार्टी राज्य विधानसभा या लोकसभा के लिए होने वाले चुनावों में अपनी पात्रता हासिल करने में विफल रहती है, तो वह राज्य या राष्ट्रीय पार्टी का अपना दर्जा खो देगी. कानूनी जानकारों का कहना है कि INLD फिलहाल इसी श्रेणी में आती है. इसकी पुष्टि विधानसभा के पूर्व अतिरिक्त सचिव राम नारायण यादव ने की है.
पूर्व उपप्रधानमंत्री ने बनाई थी INLD
साल 1987 में इंडियन नेशनल लोकदल के नाम से पूर्व उपप्रधानमंत्री स्वर्गीय चौधरी देवीलाल ने क्षेत्रीय दल का गठन किया था. जिसके अध्यक्ष अब उनके बेटे एवं पूर्व मुख्यमंत्री चौधरी ओमप्रकाश चौटाला है. 2014 के लोकसभा चुनावों में हिसार और सिरसा सीट से जीत दर्ज करने वाली इनेलो 2019 के विधानसभा चुनावों में सिर्फ एक सीट पर जीत दर्ज कर पाई थी. ऐलनाबाद विधानसभा सीट से चौधरी ओमप्रकाश चौटाला के बेटे अभय चौटाला ही पार्टी की ओर से एकमात्र विधायक निर्वाचित हुए थे. ऐसे में इस बार के चुनाव में पार्टी के लिए अच्छा प्रदर्शन करना बेहद जरूरी हो चुका है.
हमें Google News पर फॉलो करे- क्लिक करे! हरियाणा की ताज़ा खबरों के लिए अभी हमारे हरियाणा ताज़ा खबर व्हात्सप्प ग्रुप में जुड़े!