हरियाणा में अब जमीन रजिस्ट्री की प्रक्रिया में होगा बदलाव, लोगों को मिलेंगे ये लाभ

चंडीगढ़ | हरियाणा में अब जमीन रजिस्ट्री की मौजूदा प्रक्रिया में सरकार बड़े बदलाव करने पर विचार कर रही है. इसके लिए हरियाणा राजस्व आयोग जल्द ही सरकार को रिपोर्ट सौंपेगा. इसमें तमाम बदलावों का सुझाव देते हुए पूरी व्यवस्था को पारदर्शी और आम लोगों के लिए आसान बनाने की सिफारिश की जाएगी. मौजूदा रजिस्ट्री प्रक्रिया में नंबरदारों से लेकर तहसीलदारों तक की भूमिका की समीक्षा कर उनके कार्यों में बदलाव किया जा सकता है.

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इसके साथ ही, रजिस्ट्री करने वाले तहसीलदार का अलग कैडर बनाने पर भी विचार किया जा रहा है. राज्य में रजिस्ट्रेशन की पूरी प्रक्रिया वीजा सिस्टम की तर्ज पर सिंगल विंडो सिस्टम पर आधारित होगी.

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पहचान संख्या पर करती है निर्भर

अंग्रेजों के समय से ही रजिस्ट्री के लिए व्यक्ति की पहचान को लेकर आज भी नंबरदारों पर निर्भरता बनी हुई है. सरकार ने अब किसी भी परिवार की सारी जानकारी परिवार पहचान पत्र में समायोजित कर दी है. इसलिए राजस्व आयोग सरकार को पहचान का काम नंबरदारों की बजाय परिवार पहचान पत्र से करवाने का सुझाव देगा. हरियाणा राजस्व आयोग रजिस्ट्री के लिए सिंगल विंडो स्थापित करने की सिफारिश सरकार से करेगा. इसमें पहले चरण में ही जमीन से जुड़े दस्तावेज पूरे कर लिए जाएंगे. कागजात पूरे नहीं होंगे फाइल आगे नहीं बढ़ेगी.

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लोगों को मिलेगा ये लाभ

आयोग ऐसी प्रक्रिया बनाने का प्रयास कर रहा है कि अधिकारी को रजिस्ट्री कराने वाले का चेहरा देखने की जरूरत न पड़े. यह पूरी तरह से फेसलेस होगा. इसके अलावा, रजिस्ट्री करने वाले तहसीलदारों और राजस्व के अन्य कार्य करने वाले तहसीलदारों का भी अलग- अलग कैडर बनाने पर विचार किया जा रहा है. इसके पीछे आयोग का तर्क है कि मौजूदा व्यवस्था में तहसीलदारों को रजिस्ट्री के अलावा अन्य काम भी करने पड़ते हैं. इसके चलते कई बार लोगों को रजिस्ट्री के लिए कई दिनों तक इंतजार करना पड़ता है.

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चेयरमैन ने कही ये बात

जो व्यक्ति रजिस्ट्री कराने आता है, वह एक निर्धारित शुल्क जमा कराता है. आयोग की ओर से रजिस्ट्री के लिए सभी सुविधाएं एक ही विंडो पर देकर रजिस्ट्री प्रक्रिया को सरल बनाने का सुझाव दिया जायेगा. पूरी प्रक्रिया में तहसीलदार और नंबरदार की भूमिका की भी समीक्षा करने की जरूरत है. आयोग फिलहाल रिपोर्ट तैयार कर रहा है. जल्द ही रिपोर्ट शासन को सौंपी जाएगी. आगे का फैसला सरकार को लेना है- वीएस कुंडू, चेयरमैन, हरियाणा राजस्व आयोग

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