चीन में कोरोना ने फिर मचाई तबाही: श्मशान घाट में वेटिंग, लाखों लोगों की मौत की आंशका

नई दिल्ली | चीन में कोरोना वायरस फिर से कहर मचा रहा है. जैसे ही जीरो कोविड पॉलिसी खत्म हुई, संक्रमित मरीजों की संख्या भी रफ्तार पकड़ने लगी. हालात इस कदर बिगड़ चुके हैं कि अस्पतालों में बेड नहीं मिल रहें हैं. दवाएं नहीं है, जहां भी है वहां पर लंबी लाइनें लग रही है. श्मशान घाट में अंतिम संस्कार के लिए वेटिंग 2 हजार तक पहुंच गई है. हेल्थ विशेषज्ञों का कहना है कि चीन में कोरोना केस दिनों में नहीं बल्कि घंटों के हिसाब से दोगुना हो रहें हैं.

Corona Virus

अमेरिकी साइंटिस्ट और महामारी विशेषज्ञ एरिक फेगल-डिंग ने सोशल मीडिया पर चीन के चौंकाने वाले हालातों के वीडियोज शेयर किए हैं. उन्होंने कोरोना पर बड़ी चेतावनी देते हुए कहा कि 90 दिन में चीन की 60% आबादी और दुनिया के 10% लोग कोरोना से संक्रमित होंगे तो वही करीब 10 लाख मौतों की आशंका है.

उन्होंने चीन की कम्यूनिस्ट पार्टी CCP यानि सरकार पर गंभीर आरोप जड़ते हुए कहा कि इनका लक्ष्य यही है कि जिसे संक्रमित होना है हो जाए, जिसकी मृत्यु हो रही है, उसे मरने ही दिया जाए. जल्दी संक्रमण, जल्दी मौतें, जल्दी पीक… यानी सबकुछ जल्दी ही ठीक होगा.

चीन में केस बढ़ने की वजह

  • अब तक चीन जीरो कोविड पॉलिसी पर टिका हुआ था. उसका पूरा कोरोना मैनेजमेंट आइसोलेशन के इर्द-गिर्द ही था. उसने अपने हेल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर को कोरोना के हिसाब से डेवलप भी नहीं किया.
  • डॉ. उपाध्याय ने कहा कि चीन में अब तक वैक्सीनेशन 38% ही हुआ है. 65 की उम्र से अधिक के लोगों में ये 10% ही है. जीरो कोविड पॉलिसी के कारण लोगों में कोरोना से लड़ने के लिए इम्यून सिस्टम भी डेवलप नहीं हो पाया. ऐसे में अब लोगों के एक साथ बाहर निकलने के कारण वहां कोरोना विस्फोट तो होना ही था. हालांकि, चीन का दावा है कि उसकी 90% आबादी फुली वैक्सीनेटेड है.

अप्रैल में पीक पर होगा कोरोना

अमेरिका के इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ मैट्रिक्स एंड इवेलुएशन (IHMI) ने अनुमान जताया है कि 2023 तक चीन में कोरोना के कारण 10 लाख से ज्यादा लोगों की मौत होगी. ये अनुमान चीन में कोविड प्रतिबंधों के खात्मे के बाद की स्थिति को ध्यान में रखते हुए लगाए गए हैं. उन्होंने बताया कि अप्रैल तक चीन में कोरोना पीक पर होगा. उस समय तक मौतों का आंकड़ा 3 लाख 22 हजार तक पहुंच सकता है.

वैक्सीनेशन पर भरोसा नहीं

चीन कह रहा है कि उसकी 90% आबादी फुली वैक्सीनेटेड है लेकिन 80 साल की उम्र से ज्यादा के लगभग 50% लोगों का ही वैक्सीनेशन पूरा हुआ है. इसकी बड़ी वजह लोगों का वैक्सीन पर भरोसा न होना है. कुछ में इसके साइड इफेक्ट्स नजर आ रहे हैं जो बाकी लोगों को खुराक लेने के लिए डिमोटिवेट करते हैं. ये खासकर बुजुर्गों में ज्यादा हो रहा है. ऐसे लोगों का कहना है कि वैक्सीन लेने के बजाय वायरस का सामना करना ज्यादा पसंद करेंगे.

चीन में हो सकता है नया वैरिएंट

चीन में कोरोना के बढ़ते आंकड़ों को देखते हुए यूएस स्टेट डिपार्टमेंट के स्पोक्सपर्सन नेड प्राइस ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि चीन में कोरोना के बढ़ते केसेस के पीछे कोई नया म्यूटेशन हो सकता है. उन्हें आशंका है कि चीन सरकार कोरोना मामलों और मौतों की सही संख्या का आंकड़ा पेश नहीं कर रही है. यह पूरी दुनिया के लिए चिंता की बात हो सकती है.

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