हिसार | सिविल अस्पताल, हिसार में नवजात शिशुओं का इलाज कराने पहुंचने वाले परिजनों के लिए एक अच्छी खबर सामने आई है. सांस संबंधी संवेदनशील परिस्थितियों से जूझने वाले नवजातों को अब सिविल अस्पताल से रेफर करने की जरूरत नहीं पड़ेगी, क्योंकि नागरिक अस्पताल में बने स्पेशल न्यू बॉर्न बेबी केयर यूनिट में एक वेंटिलेटर की व्यवस्था उपलब्ध करा दी गई है.
मंहगे खर्च से बचेगा गरीब परिवार
सिविल अस्पताल में अब नवजात का संवेदनशील परिस्थिति में इलाज संभव होगा. वहीं, आर्थिक तंगी से जूझ रहे परिवार को निजी अस्पताल में महंगा इलाज नहीं कराना पड़ेगा. बता दें कि प्राइवेट अस्पताल में एक दिन में नवजात को वेंटिलेटर पर चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करवाने का खर्च करीब 5 हजार रूपए पड़ता है.
शट डाउन कैटेगरी में डालने के बाद ही नवजात को मिलेगी छुट्टी
वेंटिलेटर की सुविधा लेने के बाद जैसे ही नवजात का स्वास्थ्य संतुलित हो जाता है तो उसे चिकित्सक की निगरानी में जच्चा के साथ शट डाउन कैटेगरी में रखा जाएगा ताकि पता रहें कि वेंटिलेटर के बिना नवजात की हालत स्थिर है या नहीं. यदि जच्चा-बच्चा का स्वास्थ्य ठीक रहता है तो उसे तीन से चार दिन के अंदर छुट्टी दे दी जाएगी. अन्यथा उसे शट डाउन कैटेगरी में ही रखकर इलाज चलता रहेगा.
कब जरूरत होती है वेंटिलेटर की
- निमोनिया संक्रमण
- पेट में दर्द
- वजन का कम होना
- समय से पहले शिशु का जन्म होना
- समय पर टीकाकरण न करवाना
- जच्चा द्वारा संतुलित आहार का सेवन न करना
बेबी केयर यूनिट में चिकित्सा सुविधाएं
- नवजात को संतुलित तापमान में रखा जाता है. वजन का विशेष रूप से ध्यान रखा जाता है.
- टीकाकरण की सुविधा संक्रमण की पहली स्टेज की पहचान कर उसे चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराना.
- जच्चा द्वारा सही स्तनपान कराने के लिए मार्गदर्शन करना.