करनाल | हरियाणा में सड़कों पर गौवंश की वजह से होने वाले हादसों पर अंकुश लगाने के लिए हरियाणा सरकार एक अनूठी पहल शुरू कर रही है. हालांकि गौवंश की सेवा के लिए काफी भक्त हैं और सरकार ने भी गायों के संरक्षण के लिए गौसेवा आयोग का गठन किया हुआ है. अब सरकार प्रदेश के सभी जिलों में गौवन बनाने की योजना पर काम कर रही है. इसके लिए खट्टर सरकार ने सभी जिला उपायुक्तों को बेहतर स्थान चयनित करने के आदेश जारी कर दिए हैं.
करनाल में पायलट प्रोजेक्ट की शुरुआत
सीएम मनोहर लाल अपने गृह जिले करनाल में पायलट प्रोजेक्ट के तहत गौवन की स्थापना करने जा रहे हैं. जिलें के गांव मैनमती, चांदसमंद गांव में 15 एकड़ और सांभली गांव में काफी जमीन उपलब्ध है, जहां गौवन बनाए जाने की योजना सिरे चढ़ सकती है. करनाल की थीम पर प्रदेश में गौवन स्थापित किए जाएंगे और गौवंशों को अपना स्थान मिलेगा.
सड़कों पर 80 हजार गौवंश
एक आंकड़े के अनुसार, प्रदेश भर की गौशालाओं में 3 लाख से अधिक गौवंश है जबकि 80 हजार से अधिक बेसहारा गौवंश सड़कों पर घूम रहे हैं जो आए दिन हादसों को न्यौता दे रहे हैं, जिसमें कई लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ता है. यही नहीं इन गौवंश की बड़े पैमाने पर तस्करी भी होती है. इन सबके चलते खट्टर सरकार गौवंश को खुला और प्राकृतिक माहौल देने के उद्देश्य से गौवन स्थापित करने जा रही है.
क्या है गौवन
गौवन यानि गायों के लिए प्राकृतिक जंगल, जिसमें चरने के लिए घास, पानी के लिए पौंड और पेड़- पौधे होंगे. यह गांवों में खाली पड़ी जमीन पर बनाया जाएगा. यहां गायों को प्राकृतिक माहौल मिलेगा, आश्रय और घूमने- फिरने की आजादी होगी. इसके लिए सभी जिलों उपायुक्त को निर्देश दिए गए हैं कि वे अपने क्षेत्र में ऐसी जगहों की तलाश कर इस योजना पर काम शुरू करें.
युद्ध स्तर पर काम जारी
हमें Google News पर फॉलो करे- क्लिक करे! हरियाणा की ताज़ा खबरों के लिए अभी हमारे हरियाणा ताज़ा खबर व्हात्सप्प ग्रुप में जुड़े!सरकार गौवंश के संरक्षण के लिए युद्धस्तर पर काम कर रही है. अब सरकार ने सभी जिलों में गौवन स्थापित करने की योजना बनाई है. ऐसे में बहुत जल्द सड़कों से बेसहारा गौवंश को हटाकर इन गौवनों में भेजा जाएगा. उन्होंने कहा कि अकेले सरकार के प्रयासों से गौवंश की हालत नहीं सुधरेगी, हम सबको मिलकर सरकार का सहयोग करना होगा- श्रवण गर्ग, अध्यक्ष, गौसेवा आयोग