कल आएगा राफेल लड़ाकू विमान अम्बाला एयरबेस

कल भारत का राफेल को लेकर लम्बा इंतजार खत्म होने जा रहा है. जिसे लेकर पूरा देश काफी उत्साहित है क्योंकि फ्रांस निर्मित राफेल लड़ाकू विमान के आने से भारतीय वायुसेना को नई उडान मिलेगी. इसमें बेहद एडवांस्ड तकनीक का प्रयोग किया गया है जो विश्व के कुछ तकनीकी उन्नत देशों के पास ही है. यह लड़ाकू विमान जमीन के साथ-साथ आसमान से भी वार करने में सक्षम है. दरअसल भारत के रक्षा मंत्रालय ने फ्रांस के डसॉल्ट राफेल से 36 लड़ाकू विमान ख़रीदे हैं जिनकी अनुमानित लागत Rs 58,000 करोड़ रुपये है.

क्या हैं राफेल की विशेषता

दुश्मनों के छक्के छुड़ाने में सक्षम राफेल एक बहुउपयोगी विमान है. जो अत्यंत उच्च तकनीक से लेस है. यह हवा में मार कर सकने वाली मिसाइल से लेस होगा. जिसकी मारक क्षमता 150km है. साथ ही, दूसरी मिसाइल इसमें स्काल्प होगी जो 600km तक वार कर सकने में सक्षम है.

Rafel Image

राफेल में हैमर मिसाइल भी लगाए गए हैं. यह एयर टू ग्राउंड मिसाइल है. साथ ही इसमें मेट्योर मिसाइल भी रखी जाएगी जो हवा से हवा में मार करने वाली मिसाइल है. ये 100km दूर तक के लक्ष्य को भेद सकती है. राफेल में 2 इंजन लगे हुए हैं. तकनीक में अतिरिक्त उन्नत इन लड़ाकू विमानों में एयर टू एयर निगरानी, जमीनी स्पोर्ट, जमीन के नीचे सतह में मार, एंटी-शर्प स्ट्राइक और परमाणु अभियानों को अंजाम देने में सक्षम है व साथ ही इसमें मल्टी मोड रडार भी लगे हैं जो इसे और अधिक शक्तिशाली बनाते हैं. राफेल बनाने वाली कंपनी दसाल्ट का दावा है कि लगभग दस टन वजन वाला यह विमान अपने वजन से ढ़ाई गुना अधिक पेलोड के साथ उड़ान भर सकने में सक्षम है.

दरअसल राफेल की पहली खेप बुधवार को अम्बाला एयरबेस पहुंच जाएगी. जानकारी के मुताबिक राफेल का एक स्क्वाड्रन अंबाला में रहेगा, जबकि दूसरा पश्चिम बंगाल में तैनात किया जाएगा. हालांकि राफेल समझौता इसके मूल्य को लेकर काफी विवादों में रहा है. परन्तु अब इन सबसे परे भारत को अपनी पहली खेप मिलने जा रही है जिससे दुश्मनों में भी खौफ कायम होगा.

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