हिसार। हरियाणा में मौसम तेजी से बदलता जा रहा है. दिन के समय धूप से गर्मी बनी रहती है तो सुबह के समय तेज ठंड वह रात को उमस का माहौल बना रहता है.
अब दोबारा से मौसम ने मिजाज बदल लिया है और हल्की बूंदाबांदी से ठंड बढ़ गई है. शुक्रवार को हिसार में हल्की बारिश हुई जिसके बाद पूरा वातावरण परिवर्तित हो गया. चौधरी चरण सिंह हरियाणा एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी (HAU) के कृषि मौसम विभाग के अध्यक्ष डॉ मदन खीचड़ के अनुसार आने वाले कुछ दिनों में हिसार में उत्तर पश्चिमी हवाएं चलेंगी जिसकी वजह से रात के समय तापमान में और अधिक गिरावट आएगी.
इसके साथ ही सुबह-सुबह और रात के समय धुंध भी बढ़ जाएगी. ग्रामीण क्षेत्रों को रविवार को धुंध ने ढक लिया और पहले की अपेक्षा ठंड बहुत अधिक बढ़ गई.
आंकड़ों से समझिए मौसम का मिजाज
शनिवार को दिन का टेंपरेचर सामान्य से 1 डिग्री कम रहा. 24 डिग्री सेल्सियस तापमान दर्ज किया गया. वही न्यूनतम टेंपरेचर 10.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. डॉक्टर खीचड़ के अनुसार हरियाणा में 16 दिसंबर तक शुष्क मौसम संभावित है. लेकिन 15 और 16 दिसंबर को हल्के बादल होने की भी संभावना है.
किसान रखें महत्वपूर्ण बातों का ख्याल
इस बदलते हुए मौसम को देखते हुए किसानों को निम्न महत्वपूर्ण बातों पर अवश्य ध्यान देना चाहिए:-
- किसान गेहूं की पछेती बिजाई शीघ्र ही पूर्ण कर लें. इसके लिए अच्छी किस्मो WH1124 और WH1021 के प्रमाणित बीजों को 50 किलो प्रति एकड़ मात्रा में प्रयोग करें.
- बिजाई करने से पहले जनित और भूमि जनित बीमारियों से फसलों को बचाने के लिए कारबॉक्सिन 2 ग्राम प्रति किलो बीज या टेबुकोनाजोले 1 ग्राम प्रति किलो बीज के हिसाब से बीज का उपचार अवश्य कर ले.
- अगेती गेहूं की जो फसल 21 दिनों की हो गई है, उसकी सिंचाई अवश्य कर लें.
- अगेती सरसों की फसल में खरपतवार साफ कर दें और नमी को संचित करें. पानी उपलब्ध होने पर आवश्यकतानुसार सिंचाई भी करें.
- चने की फसलों में निराई गुड़ाई करके नमी को संचित करें.
- आने वाले समय में मौसम के शुष्क रहने की संभावना है. इसलिए फलों, सब्जियों, पौधों, हरे चारे की फसलों में आवश्यकता अनुसार सिंचाई अवश्य करें.