नई दिल्ली | एयर इंडिया (Air India) को फिर से अपने अधीन करने के बाद अब एक और सरकारी कंपनी टाटा समूह (Tata Groups) में शामिल हो गई है. केन्द्र सरकार ने सोमवार को जानकारी साझा करते हुए बताया था कि टाटा स्टील लॉन्ग प्रोडक्ट्स लिमिटेड (TSLP) ने 12,100 करोड़ रुपए में नीलाचल इस्पात निगम लिमिटेड का अधिग्रहण पूरा कर लिया है.
TATA की कंपनी ने जीती बोली
ओडिशा स्थित स्टील निर्माता नीलाचल इस्पात निगम लिमिटेड के विनिवेश की प्रक्रिया जनवरी 2021 से जारी थी. इसके लिए आमंत्रित की गई बोलियों में टाटा समूह की टीएसएलपी को 31 जनवरी 2022 को विजेता घोषित किया गया था. इसके लिए टाटा समूह ने 12,100 करोड़ रुपए की बोली लगाई थी. इसके बाद 2 फरवरी को लेटर ऑफ अवार्ड जारी हुआ था और 10 मार्च को शेयर खरीद समझौते पर दस्तखत किए गए थे. इसके बाद 4 जुलाई को सभी संयुक्त उद्यम भागीदारों के 93.71 फीसदी शेयरों के हस्तांतरण के बाद नीलाचल इस्पात टाटा समूह में शामिल हो गई. बता दें कि टाटा समूह के अलावा इस सरकारी कंपनी को खरीदने के इच्छुकों में जिंदल स्टील एंड पावर, JSW स्टील और नलवा स्टील एंड पावर भी शामिल थे.
नीलाचल इस्पात में हैं इन कंपनियों की भागीदारी
नीलाचल इस्पात निगम लिमिटेड एक संयुक्त उद्यम है जिसमें चार सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियां भी शामिल हैं. इनमें मेटल एंड मिनरल्स ट्रेडिंग कॉर्प लिमिटेड (MMTC) 49.78 फीसदी, नेशनल मिनरल डेवलपमेंट कॉर्प (NMDC) 10.10 फीसदी, भारत हेवी इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड (BHEL) 0.68 फीसदी और मेकॉन लिमिटेड (MECON Ltd) 0.68 फीसदी की हकदार हैं. इसके अलावा ओडिशा गवर्मेंट की दो इकाइयों ओएमसी और इपिकॉल की क्रमशः 20.47 फीसदी और 12 फीसदी हिस्सेदारी है.
मोदी गवर्मेंट का दूसरा प्राइवेटाइजेशन
बता दें कि मोदी गवर्मेंट के शासनकाल का यह दूसरा बड़ा विनिवेश है. इससे पहले एयर इंडिया के विनिवेश की प्रक्रिया पूरी होने के बाद एयरलाइन कंपनी को टाटा ग्रुप में शामिल किया गया था. बता दें कि लगातार घाटे का सामना करने की वजह से नीलाचल इस्पात निगम लिमिटेड मार्च 2020 से बंद पड़ी थी.
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