नई दिल्ली | राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में बढ़ते प्रदुषण के खतरे को भांपते हुए पहले ही तैयारियां शुरू हो गई है. इस संबंध में दिल्ली एलजी ने बुधवार को अलग-अलग विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक कर प्रदुषण के बढ़ते स्तर पर रोकथाम को लेकर विस्तार से चर्चा की. अधिकारियों ने एलजी को बताया कि दिल्ली एनसीआर क्षेत्र में एंटी स्मॉग गन लगाने के लिए 30 ऊंची इमारतों को चिह्नित किया गया है. इस पर एलजी ने कहा कि कम-से-कम 125 ऐसी इमारतें चिह्नित की जाए ताकि सर्दी में होने वाले प्रदुषण पर काफी हद तक अंकुश लगाया जा सके.
वहीं, धूल-मिट्टी से होने वाले प्रदुषण पर अंकुश लगाने के लिए एलजी ने दिल्ली नगर निगम को 15 अक्टूबर से अभियान चलाने के आदेश जारी किए. उन्होंने कहा कि 500 वर्ग मीटर से ज्यादा के निर्माण व ध्वस्तीकरण स्थलों का रजिस्ट्रेशन अनिवार्य किया जाए. एलजी ने नगर निगम और लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि फुटपाथ और सड़क के बीच की सेंट्रल वर्ज पर हरियाली की जाए और सड़कों पर गड्ढों को बंद किया जाए ताकि धूल उड़ने की नौबत ही ना बनें.
पटाखों पर पाबंदी के लिए पुलिस के साथ बनेगी योजना
पटाखों पर पूर्णतया पाबंदी लगाने के लिए पर्यावरण विभाग दिल्ली पुलिस के साथ मिलकर योजना तैयार करेगा. खासतौर पर आनलाइन पटाखों की खरीद और डिलीवरी पर रोक लगाने की हरसंभव कोशिश की जाएगी. इसको लेकर पुलिस के साथ मिलकर कार्य योजना बनाई जाएगी. वहीं, लोगों से भी अपील की जाएगी कि स्वच्छ वातावरण बनाए रखने के लिए पटाखों की बजाय दिए जलाकर दीपावली मनाई जाए.
सर्दियों में बदतर हो जाते हैं हालात
बता दें कि सर्दी का मौसम आते ही दिल्ली में प्रदुषण का स्तर बेहद ही खतरनाक श्रेणी में पहुंच जाता है. लोगों का घरों से निकलना दूभर हो जाता है. छोटे बच्चों के स्वास्थ्य का ख्याल रखते हुए स्कूल बंद करने की नौबत आ जाती है. उद्योग-धंधे, निर्माण कार्य, कोयला जलाने पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया जाता है. कुछ जरूरी सेवाओं को छोड़कर डीजल इंजन चलाने पर रोक लगा दी जाती है.
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