पंचकूला | 5 जून यानी विश्व पर्यावरण दिवस के दिन हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने पर्यावरण में वृक्षों के महत्व को बताते हुए राज्य में ऑक्सी वन (oxi-van) परियोजना की घोषणा की. इस योजना का मुख्य उद्देश्य पर्यावरण में पेड़-पौधों का संवर्धन और संरक्षण करना है.
बीते दिन हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने ऑक्सी वन परियोजना को बढ़ावा देते हुए आठवीं से बारहवीं स्तर की कक्षाओं के विद्यार्थियों के लिए एक नई नीति की घोषणा की है. जिसके तहत आठवीं से 12वीं कक्षा के विद्यार्थियों को पौधों की देखभाल और पालन-पोषण करने पर परीक्षा में अतिरिक्त अंक दिए जाएंगे. मुख्यमंत्री ने बताया कि इस तरह की योजनाओं को लाने का मुख्य उद्देश्य यही है कि विद्यालय स्तर पर छोटे नौजवान युवाओं को पर्यावरण में पेड़-पौधों के संरक्षण के प्रति जागरूक किया जाए.
कोरोना महामारी के समय में पूरे देश में ऑक्सीजन की कमी देखने को मिली. जिसके कारण कई लोगों की मौत भी हो गई. कई वैज्ञानिकों ने इस बात की जानकारी दी कि अधिक पौधे वाले क्षेत्रों में कोरोना मरीजों की संख्या कम रही. इन्हीं तमाम बातों को ध्यान में रखते हुए 5 जून पर्यावरण दिवस के अवसर पर हरियाणा प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने ऑक्सी वन परियोजना की शुरुआत की. जिसके तहत वृक्षों के महत्व को समझना, पेड़-पौधों का संरक्षण और संवर्धन करना तथा वृक्षारोपण के लिए लोगों को जागरूक करना था.
ऑक्सी वन परियोजना के अंतर्गत प्राणवायु पेंशन योजना की शुरुआत भी की गई. इस योजना के तहत 75 वर्ष से ऊपर के वृक्षों के रखरखाव के लिए प्राण वायु देवता के नाम पर 2500 रुपये की पेंशन राशि प्रदान की जाएगी. यह पेंशन हर साल वृद्धावस्था सम्मान पेंशन की तर्ज पर बढ़ाई जाएगी. हरियाणा के सभी गांव में पंचवटी वृक्षारोपण कार्यक्रम चलाया जाएगा. जिससे पेड़ों से ऑक्सीजन प्राप्त करने की प्रक्रिया को बढ़ावा मिलेगा. पंचकूला और करनाल जिले में ऑक्सी वन फॉरेस्ट बनाए जाएंगे. इन ऑक्सी वन फॉरेस्ट में विविध प्रकार के वृक्ष लगाए जाएंगे. शहरों में ऑक्सी वन पार्क का भी निर्माण किया जाएगा. ऑक्सी वन के तहत इन योजनाओं को सफल रुप से संपन्न कराने के लिए प्रशासन द्वारा कई एकड़ जमीन को चुना गया है और बजट का भी आवंटन कर दिया गया है.
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