रोहतक | तीनों कृषि कानूनों को लेकर चल रहे किसान आंदोलन को लेकर आज पूर्व केंद्रीय मंत्री व भाजपा नेता चौधरी बीरेंद्र सिंह के जन्मदिन पर आयोजित कार्यक्रम में जमकर हंगामा हुआ. भारी तादाद में किसानों ने इस कार्यक्रम का विरोध किया. विरोध का आलम यह था कि जन्मदिन पर आयोजित बाईक रैली में कार्यकर्ता बीच सड़क पर ही बाइक छोड़कर भाग गए. किसानों का कहना था कि वीरेंद्र सिंह दोहरे चरित्र की राजनीति कर रहे हैं. उन्हें चाहिए कि वे भाजपा से इस्तीफा दे और अपने सांसद बेटे का इस्तीफा दिलवाकर किसानों के समर्थन में आएं.
वीरवार को भाजपा नेता चौधरी बीरेंद्र सिंह के जन्मदिन पर छोटूराम विचार मंच ने सांपला छोटूराम संग्रहालय में एक कार्यक्रम आयोजित किया था और इसे किसान व सरकार के बीच संवाद से समाधान कार्यक्रम नाम दिया गया था. जैसे ही किसानों को पता चला कि वीरेंद्र सिंह इस कार्यक्रम में आ सकते हैं, तो किसान काले झंडे लेकर छोटूराम संग्रहालय पहुंच गए और संग्रहालय के गेट पर ताला जड़ दिया. इस विरोध को देखते हुए पहले ही वहां पर भारी तादाद में पुलिस बल तैनात किया गया था.
हालांकि छोटूराम विचार मंच के पदाधिकारियों ने किसानों को समझाने का प्रयास किया कि इस कार्यक्रम में वीरेंद्र सिंह नहीं आ रहे और न ही कोई भाजपा जजपा का नेता आ रहा. लेकिन किसान नहीं मानें और जैसे ही बाइक रैली छोटूराम संग्रहालय पहुंची तो किसानों ने काले झंडे दिखाकर विरोध जताना शुरू कर दिया. विरोध के दौरान बात हाथापाई तक पहुंच गई थी.
विरोध करने पहुंचे किसानों ने कहा कि एक तरफ तो उनका बेटा सांसद बृजेन्द्र सिंह कानूनों के समर्थन में संसद में दस्तखत करता है और वही दूसरी ओर वीरेंद्र सिंह किसानों के समर्थन की बात करता है. उन्होंने कहा कि जब तक वे इस्तीफा देकर किसानों के बीच नहीं आ जाते, उनके कार्यक्रमों का विरोध इसी तरह से होता रहेगा.
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