हरियाणा के डिप्टी सीएम ने नूंह हिंसा पर बीजेपी सरकार को घेरा, अब टूटने के कगार पर पहुंचा गठबंधन

चंडीगढ़ | हरियाणा के नूंह जिले में हाल ही में हुई हिंसा ने राज्य में सत्तारूढ़ गठबंधन के बीच खींचतान बढ़ा दी है. राज्य के उपमुख्यमंत्री और जननायक जनता पार्टी के नेता दुष्यंत चौटाला ने यह कहकर अपनी ही सरकार के लिए मुसीबत खड़ी कर दी है कि प्रशासन नूंह में स्थिति का आकलन करने में विफल रहा है. 31 जुलाई को एक धार्मिक जुलूस के दौरान नूंह में सांप्रदायिक हिंसा भड़क उठी थी. इसके बाद, राज्य के कई इलाकों में धार्मिक उन्माद की खबरें सामने आई है.

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चौटाला ने कही ये बातें

तनावपूर्ण और गंभीर स्थिति को देखते हुए, राज्य सरकार ने नूंह जिले में मोबाइल इंटरनेट और एसएमएस सेवाओं का निलंबन 11 अगस्त तक बढ़ा दिया है. चौटाला ने कहा कि अतिरिक्त डीजीपी (कानून और व्यवस्था) ने कहा था कि आयोजकों ने जुलूस निकालने की अनुमति ली थी. 3,200 लोगों के साथ जुलूस निकाला गया था और तदनुसार पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया था. इसके बावजूद, बड़े पैमाने पर हिंसा हुई.

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जब पत्रकारों ने चौटाला से पूछा कि क्या स्थिति का आकलन करने में कोई खुफिया चूक हुई है तो उन्होंने कहा प्रशासन के पास आकलन की कमी थी. उनके पास अतिरिक्त प्रभार था. यहां तक कि जिन अधिकारियों से जुलूस के लिए अनुमति ली गई थी, वे भी इसका ठीक से आकलन नहीं कर सके. यह एक ऐसा पहलू है जिसकी जांच की जा रही है.

एक अन्य संबंधित प्रश्न का उत्तर देते हुए, चौटाला ने कहा कि बलों को ठीक से तैनात नहीं किया गया था. जननायक जनता पार्टी नेता चौटाला ने पहले कहा था कि नूंह में जिस धार्मिक जुलूस पर भीड़ ने हमला किया था, उसके आयोजकों ने जिला प्रशासन को अपेक्षित भीड़ के बारे में सूचित नहीं किया था. यह एक चूक है जिसके कारण हिंसा हुई. विश्व हिंदू परिषद के जुलूस पर भीड़ के हमले के बाद हुई सांप्रदायिक झड़प में 2 होम गार्ड और मस्जिद के 1 नायब इमाम सहित 6 लोग मारे गए थे.

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आज बीजेपी का प्रतिनिधिमंडल करेगा दौरा

इसी बीच भारतीय जनता पार्टी की हरियाणा इकाई का एक प्रतिनिधिमंडल जिले की स्थिति का जायजा लेने के लिए बुधवार को नूंह का दौरा करेगा. पार्टी की एक विज्ञप्ति के अनुसार, प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व हरियाणा भाजपा प्रमुख ओपी धनखड़ करेंगे और इसमें हरियाणा के मंत्री बनवारी लाल और कुछ पार्टी विधायक भी शामिल होंगे. विज्ञप्ति में कहा गया है कि प्रतिनिधिमंडल नूंह में कई स्थानों का दौरा करेगा और वहां के लोगों से बातचीत कर स्थिति का जायजा लेगा.

पुलिस ने कहा कि हरियाणा कांग्रेस के 10 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को मंगलवार को नूंह जिले के हिंसा प्रभावित गांवों में प्रवेश करने से रोक दिया गया. एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने क्षेत्र में लगाए गए कर्फ्यू और सुरक्षा चिंताओं का हवाला देते हुए कहा कि प्रतिनिधिमंडल को रोजका मेव गांव में रोका गया था.

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अलग हो सकती है राहें

बता दें कि हरियाणा में बीजेपी और जननायक जनता पार्टी की गठबंधन सरकार है. लेकिन, दोनों पार्टियों के बीच लंबे समय से खींचतान की खबरें आती रही हैं. माना जा रहा है कि अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले दोनों पार्टियां अपनी राहें अलग कर सकती हैं और दोनों अपने- अपने दम पर विधानसभा चुनाव लड़ सकती हैं. 2019 में हुए राज्य विधानसभा चुनाव में मनोहर लाल खट्टर के नेतृत्व में बीजेपी को बहुमत नहीं मिल सका, जिस वजह से जेजेपी के समर्थन से सरकार बनी और दुष्यन्त चौटाला को उप मुख्यमंत्री बनाया गया.

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