चंडीगढ़, Haryana Panchayat Election 2022 । हरियाणा में पंचायती चुनाव के लिए लोगों को लंबा इंतजार करना पड़ रहा है. काफी समय से प्रदेश में पंचायतों का कार्यभार भी प्रशासनिक अफसरों के पास है और सरपंचों से पावर ले ली गई है.
इधर पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में पंचायत चुनावों को लेकर याचिकाओं पर सुनवाई हो रही है, जिसमें अलग – अलग बार में याचिकाकर्ता और सरकार की तरफ से अपनी अपनी तरफ से दलील दी जा रही है.
हरियाणा में पंचायती चुनाव मामले की हाई कोर्ट में चल रही सुनवाई पर आगे की तारीख दी गई है. अब अगली सुनवाई 27 जनवरी 2022 को होगी। ऐसे में इस साल पंचायत चुनाव न होने के आसार बन गए हैं और यदि अब सरकार चुनाव करवाती है तो उसे पुराने नियमों के तहत ही चुनाव करवाने पड़ेंगे. क्योंकि प्रदेश के पंचायत चुनाव में आरक्षण के प्रावधान के खिलाफ पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट में केस दायर किया हुआ है.
प्रदेश में 23 फरवरी से पंचायतों का कार्यकाल समाप्त हो जाएगा. अब उनके स्थान पर प्रशासक लगाए गए हैं. जो विकास कार्यों व अन्य कामों को करवा रहे हैं. ऐसे में अब नए प्रत्याशी चुनावों होने का इंतजार कर रहे हैं. प्रदेश में 22 जिला परिषद, 142 पंचायत समिति और 6305 पंचायतों में सरपंच-पंच पदों पर चुनाव होने वाले हैं.
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आरक्षण को दी गई है चुनौती
15 अप्रैल को मुख्य केस में याचिकाकर्ता ने कहा कि चुनाव पुराने नियमों के तहत करवाए जाने चाहिए. क्योंकि नए प्रावधान में 8 प्रतिशत सीटें बीसी-ए वर्ग के लिए आरक्षित की गई है. यह तय किया गया है कि न्यूनतम सीटें 2 से कम नहीं होनी चाहिए. जो की संभव नहीं हैं. जिला परिषद में 6 जिले ही इस नियम पर खरे उतरे रहे हैं. बाकी जिलों में एक सीट अतिरिक्त जाएगी. इससे आरक्षण बिगड़ रहा है. जो सरकार की मनमानी को दर्शाता है. वहीं महिलाओं को 50 फीसदी सीटें देने का नियम बनाया गया है.
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